...world through my lenses
Camera is a device which taught me how to see life around me...
April 23, 2012
इक भूल थे हम, शूल थे हम...
इक भूल थे हम,
शूल थे हम..
आँधियों की
धूल थे हम
...देखा हमें, परखा हमें
इक हाथ ने, इक आँख ने..
हमको नयी आवाज़ दी...
... अब जानते हैं हम
- सहमते से हुए फिर भी -
...कि शायद
इस दहकती धुप में
खिलते हुए कुछ फूल हैं हम...
April 6, 2012
क्या भूलूँ, क्या याद करूं...
adios!.. to one of the most soft, gentle, lovable, sensitive (and thus, "tortured") souls, I met...
... and to whom I owe so much in this journey, as I continue to traverse through it ...
Newer Posts
Older Posts
Home
Subscribe to:
Posts (Atom)